तुफानो से डर के भागता रहा मै पर जब भी रुका खुदको बदलो से घिरा पाया |
है रोशनी कोसो दूर मुजसे देखाजबभी खुदको ख्वाबो मै दफ़न पाया |
चाहा जिसे भी दिल से उसे अपने आप से बहुत दूर पाया |
जिंदगी मे पाने कि चाहत मे जिंदगी को कम पाया|
खोने कि आदत ने हमे ज़माने से जुदा पाया |
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